[ad_1]
केंद्रीय बजट 2024: एक फरवरी, 2024 को मोदी सरकार अंतरिम बजट पेश करने जा रही है जिसमें अगले वित्त वर्ष 2024-25 के पहले चार महीने अप्रैल से जुलाई तक नई सरकार के गठन के बाद पूर्व बजट के जारी होने तक के लिए सरकारी खर्च को पूरा करना है। संसद से मंजूरी के लिए वोट करेंगे जिसे वोट ऑन अकाउंट भी कहा जाता है। अप्रैल से मई तक लोकसभा चुनाव होगा। और मई के आखिरी सप्ताह तक देश में नई सरकार बनने की उम्मीद है।
आज़ादी के बाद 19 अंतरिम बजट पेश किया गया
आज़ादी के बाद देश में कुल 91 बजट पेश किये गये जिनमें से 14 अंतरिम बजट थे। अप्रैल से मई तक वर्ष 2024 के सामान्य चुनाव होंगे। और मई के आखिरी सप्ताह तक देश में नई सरकार बनने की उम्मीद है। ईसाई धर्म सहिंता भी मार्च 2024 में नामांकन की तारीखों के ऐलान के बाद ही लागू होगी। इसके बावजूद अंतरिम बजट में अस्थायी दल बड़े पैमाने पर का शुभारंभ नहीं कर रहे हैं। इनपुट टैक्स अलॉटमेंट में कोई बदलाव नहीं किया जा रहा है। हालाँकि 2009 और 2019 के आम चुनाव से पहले पेश किए गए अंतरिम बजट इसके अपवाद हैं। 2019 में तत्कालीन वित्त मंत्री पीयूष गोयल और 2009 में तबके वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी ने टैक्स से जुड़े बड़े फैसले लिए थे।
2019 के अंतरिम बजट का बड़ा फैसला
2019 के अंतरिम बजट में 5 लाख तक के टैक्स इन्वेंशन वालों को टैक्स छूट से छूट दी गई थी। 2.50 से 5 लाख के युवा पर 5 फीसदी की दर से 12,500 रुपये का टैक्स बन रहा था, सरकार ने फुल रिबेट दे दिया। स्टैंडर्ड डिज़ाइक को 40,000 से लेकर 50,000 रुपये तक दिया गया। दूसरे सेल्फ-ऑक्यूपाइड हाउस के नोशनल रेंट पर इनकम टैक्स नहीं लेने का निर्णय लिया गया। बैंक-पोस्ट ऑफिस दिग्गजों की मीटिंग वाले ब्याज पर टीडीएस की वसूली के लिए ब्याज की सीमा 10,000 रुपये से बढ़ाकर 40,000 रुपये कर दी गई।
2019 में किसान सम्मान योजना का अलॉटमेंट
2019 के अंतरम बजट में किसानों के लिए मोदी सरकार ने खोला खजाना। प्रधानमंत्री किसान सम्मान योजना की घोषणा की गई जिसमें किसानों को तीन किस्तों में 6,000 रुपये का प्रस्ताव दिया गया। सरकार ने निवेशकों के लिए 4000 रुपये के नोट को निवेशकों के बैंक में लिस्ट कर दिया। सरकार के इस दावे का भारतीय जनता पार्टी को चुनावी लाभ भी मिला।
2009 में टैक्स यूक्रेन में हुए बदलाव
17 फरवरी 2014 को गठबंधन सरकार के कार्यकाल के दौरान वित्त मंत्री पी. चिंदबरम ने अंतरिम बजट पेश किया था। और इस बजट में टैक्स से जुड़ी कोई बड़ी रकम शामिल नहीं की गई है। हालाँकि 2009 में लोकसभा चुनाव से पहले तबके वित्त मंत्री प्रणब मुखर्जी ने जब अंतरिम बजट पेश किया था तब उन्होंने नामांकन में बड़े पैमाने पर बदलाव किये थे। आयकर छूट की सीमा 1.1 लाख रुपये से बढ़ाकर 1.5 लाख रुपये कर दी गई। 65 साल से कम उम्र की महिलाओं के लिए आयकर छूट सीमा 1.45 लाख रुपये से लेकर 1.80 लाख रुपये कर दी गई। जबकि 65 वर्ष से अधिक आयु के वृद्ध नागरिकों के लिए छूट की सीमा 1.95 लाख से लेकर 2.25 लाख रुपये कर दी गई। साल 2004 में चुनावइससे पहले वित्त मंत्री मित्र सिंह ने अंतरिम बजट पेश किया था और इस बजट में कोई बदलाव नहीं किया गया था।
2024 में क्या मिलेगी राहत?
दो दशक में पेश किए गए अंतरिम बजट में से दो बजट में करदाताओं को बड़ी राहत दी गई। सवाल है 2024 में क्या मोदी सरकार के बजट में कोई बदलाव नहीं है। हालाँकि वित्त मंत्रालय के सदस्यों ने पहले ही कहा था कि बड़े बजट के लिए पूर्ण बजट का इंतजार करना होगा।
ये भी पढ़ें
एसबीआई रिपोर्ट: 100 करोड़ से ज्यादा यूजर्स की संख्या हुई 5 गुना, 23 से बढ़कर 136 हुई संख्या
[ad_2]